मृतक ने पहले से जतायी थी हत्या की आशंका, 4 जून को विजयीपुर थाने में की थी लिखित शिकायत

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गोविंद कुमार/ गोपालगंज:  बिहार के गोपालगंज के कुर्थिया गांव में रविवार को एक किसान की भाला घोंपकर निर्मम हत्या कर दी गयी. वहीं मृतक को बचाने पहुंचे भाई पर हमलावरों ने धारदार हथियार से हमला कर दिया है. मृतक की पहचान 42 वर्षीय घनश्याम मिश्र के रूप में हुई है, जो कुर्थिया गांव निवासी स्व. लालजी मिश्र के पुत्र थे. घटना की वजह तालाब की जमीन पर बांध बनाने का विवाद बताया गया है. पुलिस ने इस मामले में दो आरोपी बीरबल यादव और संजय यादव को गिरफ्तार कर लिया है, जबकि अन्य अभियुक्त फरार हैं. घटना की सूचना मिलने पर हथुआ एसडीपीओ अनुराग कुमार ने मौके पर पहुंचकर जांच की. एसडीपीओ ने विजयीपुर थाने की पुलिस को फरार अपराधियों की गिरफ्तारी के निर्देश दिए. वहीं, शव को पुलिस कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया. हत्या को लेकर परिजनों में आक्रोश है.

कुर्थिया गांव में घनश्याम मिश्र की हत्या के लिए अपराधियों ने पहले से साजिश रची थी. रविवार को घनश्याम उर्फ भोला मिश्र अपने बड़े भाई मंटू मिश्रा के साथ अपने बंदोबस्ती जमीन पर तालाब का बांध बांधने के लिए जैसे ही पहुंचे, बगल के मठिया गांव के बीरबल यादव, संजय यादव सहित अन्य 15 -20 लोग अपने-अपने हाथ में भाला, गुप्ती, हॉकी स्टीक और लाठी लेकर पहुंच गए. हमलावरों ने दोनों भाइयों पर आते ही हमला शुरू कर दिया और भागने तक का मौका दिया. दोनों को मरा समझकर हमलावर फरार हो गए. आस-पास के लोगों की मदद से घायलों को विजयीपुर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर पहुंचाया, जहां घनश्याम मिश्र को डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया. जबकि गंभीर रूप से जख्मी भाई मंटू मिश्र को बेहतर इलाज के लिए सदर अस्पताल रेफर कर दिया.

‘पुलिस की चूक से हुई घनश्याम की हत्या’

परिजनों के अनुसार घनश्याम मिश्र की हत्या पुलिस की चूक से हुई. उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि घनश्याम को लगातार जान से मारने की धमरी मिल रही थी, जिसके हम थाने में 4 जून को लिखित शिकायत भी दर्ज कराई थी, लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की. परिजनों ने वरीय पुलिस अधिकारियों से विजयीपुर के दोषी पुलिस पदाधिकारियों पर कार्रवाई करने की मांग करते हुए न्याय दिलाने की गुहार लगायी है.

मृतक के दादा के नाम है सात बीघा जमीन का बंदोबस्त

मृतक घनश्याम के परिजनों ने बताया कि पीड़ित के दादा स्व. रामलगन राय के नाम गांव के पास सरेह में लगभग सात बीघा जमीन बंदोबस्त थी. बारिश के दिनों में वे आधे से अधिक हिस्से में पानी जमा रहने के कारण मत्स्य विभाग के अधिकारी मछली पालन करते थे. मत्स्य विभाग द्वारा अक्सर कहां सुनी होती थी. इधर, उसी जमीन के हिस्से में बीरबल यादव भी जबरदस्ती दखल किए हुए थे. इसी विवाद को लेकर दोनों पक्ष अंचल पदाधिकारी तथा पुलिस प्रशासन को आवेदन पत्र भी दिया गया था.

वहीं एसपी स्वर्ण प्रभात ने कहा कि हत्या के मामले में पुलिस ने चार में से दो नामजद अभियुक्त बीरबल यादव और संजय यादव को गिरफ्तार कर लिया है. शेष अभियुक्तों की तलाश में पुलिस छापेमारी कर रही है. एसपी ने कहा कि दोषी को किसी भी हाल पर बख्शा नहीं जाएगा.

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